सुप्रीम कोर्ट ने दी ED डायरेक्टर संजय मिश्रा का कार्यकाल बढ़ाने की मंजूरी, 15 सितंबर तक बढ़ा कार्यकाल लेकिन…

First Ever News Admin
3 Min Read

नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट (SC) ने प्रवर्तन निदेशालय (ED) के प्रमुख संजय कुमार मिश्रा के कार्यकाल को 15 सितंबर तक बढ़ाने की इजाजत दे दी है। लेकिन बृहस्पतिवार को कोर्ट ने स्पष्ट किया कि इसके बाद कोई कार्यकाल विस्तार प्रदान नहीं किया जाएगा।rn

rn

आपको बता दें कि पीठ ईडी (ED) प्रमुख मिश्रा का कार्यकाल 15 अक्टूबर तक बढ़ाने का अनुरोध करने वाली केन्द्र की याचिका पर सुनवाई कर रही थी। शीर्ष अदालत ने मिश्रा को लगातार दो बार एक-एक साल का कार्यकाल विस्तार दिए जाने को 11 जुलाई को गैरकानूनी बताया था। कहा था, कि केन्द्र सरकार का यह आदेश 2021 के उसके फैसले के विपरीत है, जिसमें उसने कहा था कि भारतीय राजस्व सेवा के अधिकारी को और कार्यकाल विस्तार नहीं दिया जाना चाहिए। न्यायालय ने नवंबर तक लिए मिश्रा को मिले कार्यकाल विस्तार को छोटा करके जुलाई 31 तक कर दिया था।rn

rn

15 सितंबर की मध्य रात्रि के बाद ईडी (ED) के प्रमुख नहीं रहेंगेrn

दरअसल केन्द्र सरकार ने मिश्रा का कार्यकाल 15 अक्टूबर तक बढ़ाने का अनुरोध किया था। तो वहीं जस्टिस बी. आर. गवई, जस्टिस विक्रमनाथ और जस्टिस संजय करोल की पीठ ने कहा- वह ‘व्यापक जनहित और राष्ट्रहित’ में कार्यकाल विस्तार प्रदान कर रही है, लेकिन मिश्रा 15 सितंबर की मध्य रात्रि के बाद ईडी (ED) के प्रमुख नहीं रहेंगे। rn

rn

क्या पूरा विभाग ‘अयोग्य लोगों से भरा पड़ा है’?rn

बता दें कि सुनवाई के दौरान शीर्ष अदालत ने कार्यकाल विस्तार के केन्द्र के अनुरोध पर सवाल किया और पूछा कि निवर्तमान प्रमुख के अलावा क्या पूरा विभाग ‘अयोग्य लोगों से भरा पड़ा है’। तो वहीं केन्द्र की ओर से सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता से पीठ ने कहा- क्या हम यह छवि पेश नहीं कर रहे हैं, कि और कोई नहीं है और पूरा विभाग अयोग्य लोगों से भरा पड़ा है। rn

rn

‘ईडी ( ED) के मौजूदा नेतृत्व का बने रहना आवश्यक’rn

शीर्ष विधि अधिकारी ने दलील दी कि फाइनेंशियल एक्शन टास्क फोर्स (FATF) की समीक्षा के मद्देनजर ईडी ( ED) के मौजूदा नेतृत्व का बने रहना आवश्यक है, क्योंकि एफएटीएफ (FATF) की रेटिंग मायने रखती है। मेहता ने कहा- मिश्रा का रहना अनिवार्य नहीं है, लेकिन उनकी उपस्थिति पूरी समीक्षा प्रक्रिया और रेटिंग के लिए आवश्यक है। तो वहीं ईडी (ED) की ओर से पेश अतिरिक्त सॉलिसिटर जनरल एस. वी राजू ने कहा- कुछ पड़ोसी देश चाहते हैं कि भारत एफएटीएफ की ‘ग्रे सूची’ में पहुंच जाएं और ऐसे में ईडी (ED) प्रमुख का पद पर बने रहना आवश्यक है।rn

rn

rn

rn

rn

Share This Article