अलमारी और दीवारों में ठूस-ठूस कर भर रखें थे पैसे, रेड कर टीम ने बरामद किए 250 करोड़ रुपए

Admin
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Money was kept crammed in cupboards and walls, raid team recovered Rs 250 crores

Raid:  सीबीआई की टीम ने एक बड़ा खुलासा किया है, टीम ने 250 करोड़ रुपए का खुलासा करते हुए कार्रवाई की है। ये इस समय देश का बड़ा घोटाला खुलासा है। बता दें कि बेहद कम समय में हवाला रैकेट के जरिये धनकुबेर बने इत्र कारोबारी पीयूष जैन और उसके परिजनों के नाम देश के चार राज्यों में संपत्तियां हैं।

 

कई राज्यों में 400 करोड़ की संपत्तियां

तो वहीं कानपुर, कन्नौज समेत कानपुर देहात, आगरा, प्रयागराज, नोएडा के अलावा दिल्ली, मुंबई और गुजरात में करीब 400 करोड़ की संपत्तियां हैं। काली कमाई खपाने के लिए उसने दुबई में भी संपत्तियां खरीदी हैं। इधर, करोड़ों की नकदी मिलने के बाद डीजीजीआई की टीम ने नए बिंदुओं पर जांच आगे बढ़ाई है।

 

जांच लगातार जारी

दरअसल नोटबंदी के दौरान उसने कितने नोट बदलवाए, इसे भी जांच में शामिल किया गया है। इसके अलावा पांच वर्षों का बैंक स्टटमेंट निकालकर खातों से किए गए लेनदेन की जांच शुरू की गई है। विभागीय सूत्रों ने बताया कि पीयूष जैन ट्रांसपोर्टर प्रवीण जैन की मदद से कुछ लोगों के साथ मिलकर लंबे समय से हवाला का काम कर रहा था।

 

सामान के साथ रुपयों के पैकेट भेजे जाते थे

खबरों के मुताबिक सामान के साथ रुपयों के पैकेट भेजे जाते थे, इसमें ट्रांसपोर्टर को मोटा कमीशन मिलता था। ऐसे में जांच का दायरा और बढ़ गया है। सूत्रों ने बताया कि इतनी नकदी कई साझेदारों की है। इनमें पांच से छह लोग शामिल हैं, जो पीयूष के घर में नकदी जमा कर रहे थे |बताया गया कि इत्र कारोबारी अपनी कमाई से अलग-अलग जगहों पर प्रॉपर्टी खरीदता गया और बड़े पैमाने पर सोना-चांदी की भी खरीद की। सूत्रों ने बताया कि नोट बंदी 2016 में हुई थी। अब यह देखा जा रहा है कि उस समय पीयूष ने कितने नोट बदलवाए थे।

 

इत्र कारोबारी के खिलाफ कार्रवाई

तो वहीं पीयूष जैन कई पान मसाला, साबुन और सौंदर्य उत्पाद बनाने वाली कंपनियों को सिंथेटिक गुलाब जल और कंपाउंड की सप्लाई करता है। जिले में भी उसने कई स्थानों पर जमीन खरीदकर काले धन को सफेद किया है।

सूत्रों के अनुसार, शहर के छिपट्टी मोहल्ला में रहने वाले पीयूष ने करीब तीन साल पहले सदर कोतवाली के भुगैतापुर गांव में 50 बीघा जमीन खरीदी थी| रुपये खपाने के लिए उसने पड़ोसियों के करीब चार मकानों को भी खरीद लिया। इसके अलावा छिपट्टी में एक कारखाना और दो अलग-अलग जगहों पर भी मकान हैं। ठठिया कस्बा में एक प्राचीन मंदिर के जीर्णोद्धार के लिए पीयूष ने करोड़ों रुपये का चंदा दिया है।

 

 

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